आगरा: लूट के फर्जी खुलासे पर बालूगंज पुलिस चौकी निलंबित, आठ पुलिसकर्मी लाइन हाजिर
आगरा – थाना रकाबगंज की बालूगंज पुलिस चौकी पर बड़ी कार्रवाई करते हुए डीसीपी सिटी सोनम कुमार ने बृहस्पतिवार को चौकी प्रभारी समेत आठ पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया। यह निर्णय एक लूट की घटना के गलत तरीके से खुलासे के चलते लिया गया है, जिससे पुलिस की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं।
🔍 क्या है मामला?
घटना 23 जुलाई 2025 की है, जब जंगजीत नगर, सदर निवासी राकेश मथुरिया साइकिल से घर जा रहे थे। माल रोड मोड़ के पास बाइक सवार तीन बदमाशों ने उनका मोबाइल लूट लिया। इस मामले में थाना रकाबगंज में केस दर्ज किया गया।
अगले ही दिन पुलिस ने दावा किया कि आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है। फैज उर्फ सादान, केशव और साहिल, जो कि ताजगंज क्षेत्र के निवासी हैं, को इस लूट का जिम्मेदार बताया गया। फैज और केशव को गिरफ्तार दिखाया गया, जबकि साहिल को वांछित घोषित किया गया।
⚠️ सेटिंग के जरिए किया गया था खुलासा!
सूत्रों के अनुसार, लूट की वारदात में शामिल आरोपियों को सेटिंग के जरिए पकड़ा गया। एक मध्यस्थ की मदद से उन्हें पुलिस के सामने पेश किया गया। पुलिस ने मुठभेड़ का नाटक नहीं किया और किसी को घायल भी नहीं किया। यह जानकारी जैसे ही वरिष्ठ अधिकारियों को मिली, पूरे मामले को गंभीरता से लिया गया और चौकी स्तर पर बड़ी कार्रवाई कर दी गई।
❗ पूरी चौकी निलंबित, यह हैं नाम
निलंबन की गाज इन पुलिसकर्मियों पर गिरी:
एसआई अमित कुमार (चौकी प्रभारी)
एसआई राहुल गिरी
एसआई अंकित
एसआई विनय धारा
मुख्य आरक्षी धर्मेंद्र कुमार, आलोक कुमार
सिपाही विकास यादव, मोहम्मद आमिर आलम
🗣️ अधिकारियों की प्रतिक्रिया
इस कार्रवाई की पुष्टि एडीसीपी सिटी आदित्य सिंह ने वायरलेस सेट पर मैसेज के माध्यम से की। वहीं डीसीपी सिटी सोनम कुमार ने बयान में कहा कि “विभागीय कार्यों में लापरवाही बरतने के चलते यह कार्रवाई की गई है।” हालांकि लूट के फर्जी खुलासे पर सीधे तौर पर कोई टिप्पणी नहीं की गई।
📊 पहले भी हो चुकी है पुलिस पर कार्रवाई
यह पहला मामला नहीं है। पिछले वर्ष भी 50 से अधिक पुलिसकर्मी निलंबित किए गए थे। पुलिस आयुक्त के फीडबैक सेल
द्वारा लापरवाही उजागर होने पर यह कार्रवाई की गई थी।